पहाड़ियों में खेत हैं, सारे सीढ़ीदार।
रूकता अपवाह जल का, बढ़ती पैदावार ।
शब्दार्थ :- सीढीदार = सीढी के स्वरूप में खेत होना ।
भावार्थ:- ’’वाणी’ कवीराज कहते है कि पहाड़ी क्षेत्रों में कृषि कार्य हेतु खेतों को सीढ़ीदार बनाए जाने से कई लाभ होंगे । प्रथमतः पानी का उपवाह रूकता है जिससे फसलों को लाभ मिलता। पैदावार भी बढती अर्थात् स्थान विशेष की भौगोलिक आवश्यक परिवर्तनों को सहर्ष स्वीकार कर लेना चाहिए ।