अंतर्राष्ट्रीय ऐल्बिनिज़म जागरूकता दिवस 13th June

 


कुछ दिखे कुछ दिखे नहीं, करे रोग बीमार ।

धवल नयन चमड़ी धवल, रोगी हुए हजार ।।

रोगी हुए हजार, मुश्किल उनका उपचार ।

रहते उनसे दूर, दूर-दूर दे समाचार ।।

कह 'वाणी' कविराज, अपना जान सोचो कुछ ।

जब नियमित हो जांच, तब होय अच्छा सब कुछ ।।

कवि अमृत 'वाणी'